1. Ruling Planet – Moon
2. Color – White
3. Chemical formula – Ca Co 3
4. Luster – Semi Vitreous
5. Crystal – Orthorhombic
6. Gravity – 2.76 Approx.
7. Refraction – 1.53 ( Spot )
मोती (Pearl) पहनने के कई धार्मिक, ज्योतिषीय और स्वास्थ्य संबंधी लाभ माने जाते हैं। प्रमुख कारण निम्नलिखित हैं:
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मन की शांति:
मोती चंद्र ग्रह से संबंधित होता है, जो मन, भावनाओं और शांति का प्रतीक है। इसे पहनने से मानसिक तनाव, चिंता और क्रोध कम होता है। -
भावनात्मक संतुलन:
यह पहनने वाले को भावनात्मक रूप से स्थिर बनाता है और आत्मविश्वास बढ़ाता है। -
शारीरिक लाभ:
आयुर्वेद में मोती की भस्म का उपयोग दिल, त्वचा और मानसिक रोगों के उपचार में किया जाता है। -
नकारात्मक ऊर्जा से बचाव:
मोती पहनने से नकारात्मक शक्तियाँ दूर होती हैं और सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है। -
ज्योतिषीय लाभ:
जिनकी कुंडली में चंद्रमा कमजोर होता है या “चंद्र दोष” होता है, उन्हें मोती पहनने की सलाह दी जाती है। -
सौंदर्य और आकर्षण:
मोती शुद्धता और सुंदरता का प्रतीक है। इसे पहनने से व्यक्तित्व में आकर्षण बढ़ता है।
रत्न धारण करने से पहले ये बातें ज़रूर जान लें!
रत्न केवल ग्रह की शक्ति (Power) को बढ़ाता है, न कि ग्रह को सकारात्मक (Positive) बनाता है।
अगर कोई ग्रह कुंडली में अशुभ है या मारक है, तो उसका रत्न पहनने से नुकसान भी हो सकता है।
रत्न ग्रह को अच्छा नहीं बनाता, बल्कि जो जैसा है, उसी को और मजबूत करता है।
इसलिए यह जानना बेहद ज़रूरी है कि आपकी कुंडली में कौन-सा ग्रह योगकारक (Benefic) है और कौन-सा मारक (Malefic)।
रत्न कभी भी सिर्फ महादशा या अंतरदशा देखकर नहीं पहना जाता।
बल्कि केवल वही ग्रह का रत्न पहना जाता है,
जो आपकी कुंडली में योगकारक हो और उसकी शक्ति (बल) कमज़ोर हो।
इन सभी बातों का सही निर्णय केवल कुंडली के गहन विश्लेषण से ही किया जा सकता है।
इसलिए रत्न पहनने या खरीदने से पहले अपनी कुंडली का विश्लेषण ज़रूर करवाएं।
गलत रत्न आपके जीवन में परेशानियाँ ला सकता है, और सही रत्न आपकी किस्मत बदल सकता है
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